Dhanteras Puja Vidhi: यहां जानें धनतेरस की संपूर्ण पूजा विधि
Dhanteras Puja Vidhi |
इसके अलावा इस दिन आयुर्वेद के प्रवर्तक और देवताओं के चिकित्सक भगवान धन्वंतरि की पूजा भी धनत्रयोदशी पर अच्छे स्वास्थ्य और कल्याण के लिए की जाती है। यदि आप भी इस दिन भगवान धन्वंतरि की पूजा करना चाहते हैं और आपको इस दिन की पूजा विधि के बारे में नहीं पता है तो आज हम आपको इसके बारे में बताएंगे तो बिना किसी देरी के चलिए डालते हैं धनतेरस की पूजा विधि पर एक नजर...
धनतेरस की पूजा विधि (Dhanteras Pujan Vidhi)
1.धनतेरस की पूजा शाम के समय की जाती है। इसलिए इस दिन शाम के समय स्नान करने के बाद साफ वस्त्र धारण करें और फिर मिट्टी का हाथी और भगवान धनवंतरी की मूर्ति या चित्र स्थापित करें।
2. चित्र स्थापित करने के बाद चांदी या तांबे की चम्मच से जल का आचमन करें।
3. इसके बाद पूजा स्थान पर अन्न की ढेरी बनांए।
4. आचमन के बाद भगवान गणेश का ध्यान करके उनका पूजन करें और हाथ में अक्षत लेकर भगवान धनवंतरी का ध्यान करें।
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5. इसके बाद भगवान धनवंतरी को पंचामृत से स्नान करांए और रोली या चंदन से तिलक करें।
6.तिलक करने के बाद भगवान धनवंतरी के मंत्रों का जाप करें।
7.इसके बाद भगवान धनंवतरी को पुष्प अर्पित करें। फिर तीन बार धनवंतरी के चित्र या प्रतिमा पर इत्र का छिड़काव करें।
8. इत्र छिड़कने के बाद भगवान धनवंतरी को वस्त्र और मोली अर्पित करें।
9. इसके बाद मां लक्ष्मी, कुबेर, गणेश, मिट्टी के हाथी और धन्वंतरि जी सबका एक साथ पूजन करें।
10.अंत में अपने घर के बाहर दोनों और एक -एक मिट्टी के तेल का दीपक जलाएं।
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